6 अप्रैल, जमशेदपुर (राजनामा.कॉम)। द प्रेस क्लब ऑफ सरायकेला- खरसावां के गठन पर ऑल इंडिया स्मॉल एंड मीडियम जर्नलिस्ट वेलफेयर एसोसिएशन (एआईएसएमजेडब्ल्यू) ने नैतिक समर्थन देकर नजीर पेश किया है।
संगठन के बिहार-बंगाल-झारखंड प्रभारी प्रीतम सिंह भाटिया ने एक शुभकामना संदेश जारी कर पूरी कमेटी को शुभकामनाएं दी है।
निश्चित तौर पर द प्रेस क्लब ऑफ सरायकेला खरसावां की पूरी कमेटी का गठन निर्विरोध रूप से हुआ है, उसकी सराहना की जानी चाहिए।
पत्रकार हित में वैसे तमाम संगठनों को आगे आते हुए द प्रेस क्लब ऑफ सरायकेला- खरसावां के गठन पर पूरी टीम की हौसला अफजाई करनी चाहिए। इससे पत्रकार एकता को बल मिलेगा और पत्रकार हित में बेहतर कार्य हो सकेंगे।
अपने शुभकामना संदेश में ऑल इंडिया स्मॉल एंड मीडियम जर्नलिस्ट वेलफेयर एसोसिएशन (एआईएसएमजेडब्ल्यू) के बिहार झारखंड प्रभारी प्रीतम सिंह भाटिया ने लिखा है….
“सरायकेला खरसावां जिले में हमारे पत्रकार साथियों ने संगठित होने के लिए एक नई शुरुआत की है, जो काबिले तारीफ है। सरायकेला प्रेस क्लब आने वाले दिनों में साहसिक और ऐतिहासिक निर्णय लेकर पत्रकार हित में अनूठी पहल करेगा ऐसा मेरा विश्वास है। इस नई ऊर्जावान टीम में जिले के सभी वरिष्ठ एवं युवा पत्रकारों को भी सम्मानजनक पद दिया जाना एक सराहनीय और ऐतिहासिक पहल है। मेरा यह मानना है, कि देशभर में पत्रकारों को संगठित होने की अत्यंत आवश्यकता है। फिर चाहे उनका संगठन, एसोसिएशन और क्लब किसी नाम से ही हो, पहचान उसके काम से ही होगी। पत्रकार चाहे किसी भी बैनर तले किंतु एकजुट हो यह अत्यंत आवश्यक और परिस्थितिवश जरूरी भी है। वर्तमान पत्रकारिता का दौर चुनौतियों से भरा हुआ है, इसलिए संगठित होना बेहद जरूरी है। नई ऊर्जा के संचार के साथ जिले में संगठित हुए पत्रकार साथियों को बधाइयां और शुभकामनाएं।”
एआईएसएमजेडब्ल्यू आंचलिक पत्रकारों की एक राष्ट्रीय स्तर की रजिस्टर्ड संस्था है। जो आंचलिक स्तर के पत्रकारों को संगठित कर उनके हक और हुकूक की लड़ाई लड़ता है। निश्चित तौर पर द प्रेस क्लब ऑफ सरायकेला-खरसावां को नैतिक समर्थन देकर इन्होंने पत्रकार संगठनों के लिए 1 मील का पत्थर गाड़ दिया है।
आमतौर पर पत्रकार संगठन ऐसे मामलों में विवाद पैदा कराने के लिए जाने जाते हैं, लेकिन सरायकेला- खरसावां जिले के पत्रकारों ने अद्भुत मिसाल पेश किया है। जिसके लिए वहां के पत्रकारों की जितनी सराहना की जाए वह कम है।