Home राज़नामा यक्ष प्रश्नः धरना पर बैठी यह प्रताड़ित महिला पत्रकार है ?

यक्ष प्रश्नः धरना पर बैठी यह प्रताड़ित महिला पत्रकार है ?

"पत्रकार सुकांति ने सीडीपीओ दुर्गेश नंदिनी पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए मामले की जांच कराए जाने की मांग की है। यहां तक कि जिला सूचना एवं जनसंपर्क विभाग भी उसे पत्रकार पत्रकारों के कहने पर मानने से इनकार करते हुए सरकारी कार्यक्रमों में आने- जाने की सूचनाएं नहीं देती है। जबकि उसके पास संस्थान से संबंधित मान्यता पत्र भी मौजूद है.....

0

राज़नामा.कॉम। झारखंड प्रदेश के सरायकेला खरसावां जिले की महिला पत्रकार पुलिस एवं प्रशासन की यातनाओं से परेशान होकर न्याय न मिलने से निराश शनिवार को जिला मुख्यालय के समीप धरने पर बैठ गई। महिला पत्रकार का नाम सुकांति साहू है और वह एक पत्रिका की पत्रकार है।

इससे पूर्व सुकांति ने अपने व अपने परिवार पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ जिले के तमाम पुलिस एवं प्रशासनिक पदाधिकारियों के साथ राज्यपाल को भी अवगत कराया है, बावजूद इसके पत्रकार के परिवार को सुरक्षा देने के बजाय पुलिस उसकी मां एवं पत्रकार पर झूठा मुकदमा दर्ज कर अपराधियों को संरक्षण देने में लगी हुई है।

बताया जाता है, कि सुकांति का चचेरा भाई सुनील साहू अपराधिक प्रवृत्ति का है और पूर्व में भी उसके पिता की हत्या में शामिल रहा है। पिता की गैरमौजूदगी में दो छोटी बहन और एक भाई के साथ विधवा मां की जिम्मेवारी उठा रही सुकांति अपने जायदाद को अपराधी चचेरे भाई से बचाने के खातिर दर-दर की ठोकरें खा रही है।

खरसावां थाना अंतर्गत आमदा ओपी क्षेत्र निवासी सुकांति ने बताया, कि अपने चचेरे भाई के दहशत से बचाने के लिए वह अपनी मां और अपने भाई को दिन भर गांव से बाहर सरायकेला की सड़कों पर घूमाती रहती है। शाम होने पर चुपचाप घर के भीतर घुसकर दरवाजा बंद कर लेती है।

यहां तक कि शौच लगने पर भी घर के भीतर ही शौच कर लेती है, लेकिन बाहर नहीं निकल पाती। उसने बताया, कि कई बार पुलिस के समक्ष इंसाफ की गुहार लगा चुकी है, लेकिन पुलिस उल्टा अपराधी कोई साथ दे रही है।

सुकांति की मां आंगनबाड़ी सेविका है। इसको लेकर उसकी मां पर काफी दबाव भी रहता है। उसने बताया, कि उसके परिवार को प्रताड़ित करने के पीछे सीडीपीओ दुर्गेश नंदिनी का भी अहम रोल है। उसने दुर्गेश नंदिनी पर स्थानीय पत्रकारों को उसके खिलाफ भड़का दिया है, और उसे पत्रकार मानने से इनकार करते हुए झूठा मुकदमा भी दर्ज कराया है।

error: Content is protected !!
Exit mobile version